दक्षिणी थाईलैंड का यह बिजनेसमैन रोजाना दो बार खूंखार मगरमच्छ का पिता है खून जानिए 1 ग्लास की कितनी कीमत थाईलैंड के ट्रांग प्रांत के 52 वर्षीय रोजाकोर्न नैनोन अपने दिन की शुरुआत एक गिलास मगरमच्छ के खून के साथ करते हैं. इसमें वे लाओ खाओ नामक थाई स्पिरिट भी मिलाते हैं. इसके बाद रात को सोने से पहले भी एक ऐसा ही कॉकटेल लेना वह पसंद करते हैं. रोजाकोर्न ने कहा, पहले वह हर समय शारीरिक रूप से कमजोर और थका हुआ महसूस करते थे, लेकिन जब से मगरमच्छ का खून पीना शुरू किया, चमत्कारिक बदलाव आ गया. अब वह कभी थका हुआ नहीं लगता. शरीर में इतनी स्फूर्ति नजर आती है कि कभी भी कमजोरी महसूस नहीं होती. मगरमच्छ का खून कई अंगों, रक्त और तंत्रिका तंत्र के लिए चमत्कार की तरह काम करता है.
दक्षिणी थाईलैंड का यह बिजनेसमैन रोजाना दो बार खूंखार मगरमच्छ का पिता है खून जानिए 1 ग्लास की कितनी कीमत
खूंखार मगरमच्छ का 1 ग्लास कॉकटेल की कीमत 800 रुपये

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खूंखार मगरमच्छ का 1 ग्लास कॉकटेल की कीमत 800 रुपये भारत में जैसे मुर्गी पालन के लिए फार्म में किया जाता है उस तरह थाइलैंड में मुर्गी पालन की तरह मगरमच्छ पालन किया जाता है यहां फॉर्म हाउस में लाखों मगरमच्छ पाले जाते हैं. फॉर्म हाउस के मालिक वनाचाई चाइकर्ड का दावा है कि क्रॉक्स में बहुत कम खून होता है. मुश्किल से एक या दो गिलास. इसलिए इसे पीने के लिए लाओ खाओ जैसा एक तरह का एल्कोहल मिलाना होता है. एक ग्लास इस कॉकटेल की कीमत 800 रुपये तक आती है.
खूंखार मगरमच्छ का खून पिने के फायदे

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खूंखार मगरमच्छ का खून पिने के कई फायदे है यह शरीर की कमजोरी को दूर करता है और शरीर में ताकत जोश एक डैम जंगली खुखार मगरमच्छ जैसे ताकत का निर्माण करता है जिससे कमजोर से कमजोर व्यक्ति मगरमच्छ की तरह शक्तिशाली हो जाता है ट्रांग प्रांत में सबसे बड़े मगरमच्छ फॉर्म के मालिक वनाचाई का दावा है कि उनका बनाया कॉकटेल शरीर में ब्लड सर्कुलेशन को ठीक कर देता है. लाल रक्त कोशिकाओं को मजबूत करता है, प्लेटलेट काउंट और सफेद रक्त कोशिकाओं को बढ़ाता है. यहां तक कि इससे एग्स और शुक्राणुओं की कोशिकाओं को भी ताकत मिलती है. उनके मुताबिक, इसे पीने से बांझपन की समस्या भी दूर हो जाती है.
आखिर कैसे बनता है मगरमच्छ के खून से बना कॉकटेल जानिए
कॉकटेल बनाने के लिए आमतौर पर तीन से चार साल की उम्र वाले मगरमच्छों की बलि दी जाती है क्योंकि जब वे सबसे मजबूत होते हैं तो उनके खून का सबसे शक्तिशाली प्रभाव होता है. एक जानवर से लगभग 100 मिलीमीटर खून ही निकाला जा सकता है. दरअसल, मगरमच्छों की स्किन, मीट और खून काफी महंगा बिकता है. इसी वजह से इन्हें पाला जा रहा है. थाइलैंड में मगरमच्छों के एक हजार से भी ज्यादा फॉर्म हाउस हैं, जहां करीब 12 लाख मगरमच्छों को रखा गया है. इसके पित्त और खून की दवाई भी बनाई जाती है. पित्त की कीमत 76 हजार रुपये प्रति किलो है. वहीं मीट 570 रुपये प्रति किलो बिकता है. मगरमच्छ की स्किन से हैंडबैग लेदर सूट्स, बैल्ट्स जैस प्रोडक्ट बनाए जाते हैं.