INDEPENDENCE DAY 2022: भारत को आजाद हुए 75 वर्ष हो चुके है. इस साल भारत अपनी आजादी का 75वां अमृत महोत्सव मनाने जा रहा है. भारत को यह आजादी करीब 200 सालों की गुलामी के बाद मिली है. लेकिन भारत ने इस आजादी को पाने के लिए न जाने कितने संघर्ष किए.
INDEPENDENCE DAY 2022: भारत में हर साल 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस मनाया जाता है. यह क्षण भारत के देशवासियों के लिए गौरव का क्षण होता है जब भारत के प्रधानमंत्री लाल किले की प्राचीर से देश का झंडा फहराते है. लेकिन क्या आप जानते है कि आखिर 15 अगस्त को ही स्वतंत्रता दिवस क्यों मनाया जाता है.
साम्प्रदायिक झगड़े ने देश को दिलाई आजादी
ब्रिटिश सरकार का भारत की आजादी को लेकर पूरा प्लान तैयार था. फरवरी सन् 1947 में प्रधानमंत्री क्लीमेंट एटली ने भारत को आजाद़ी देने का समय जून 1948 तय किया. भारत के नए वाइसराय बने लार्ड माउंटबैटन ने भारतीय नेताओं से मिलकर आजादी की बात करना शुरू किया लेकिन मामला तब अटका जब जिन्ना ने अलग देश की मांग कर दी. इससे नेहरू और जिन्ना के बीच मतभेद उत्पन्न हो गया. नेहरू और जिन्ना के बढ़ते मतभेद का असर देश के आम जनमानस में भी देखने को मिला. मतभेद धीरे-धीरे साम्प्रदायिक झगड़े का रूप लेने लगा जिसके चलते 1948 की जगह 1947 में ही देश को आजाद करने की बात तय होगी.
15 तारीख ब्रिटिश सरकार के लिए थी यादगार
लार्ड माउंटबैटन ने 15 अगस्त का दिन भारत की आजादी के लिए इसलिए चुना क्योकि 15 अगस्त, 1945 के दिन द्वितीय विश्व युद्ध के समय ब्रिटिश सरकार के सामने जापानी सेना ने घुटने टेक दिए थे. उस समय ब्रिटिश की सेना में लार्ड माउंटबैटन अलाइड फोर्सेज़ में कमांडर थे. इस जीत का पूरा श्रेय माउंटबैटन को दिया गया था. यही वजह थी की उन्होने भारत की आजादी का दिन 15 अगस्त तय किया था.
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