International Driving Licence: इंटरनेशनल ड्राइविंग लाइसेंस कैसे बनता है जानिए इसकी पूरी प्रोसेस और शर्ते मोटर वाहन चलाने के लिए ड्राइविंग लाइसेंस की जरूरत है. अगर किसी व्यक्ति के पास ड्राइविंग लाइसेंस नहीं है तो उसे मोटर वाहन चलाने की अनुमति नहीं होती है. लेकिन, मान लीजिए आपको कहीं विदेश जाना है और आपके पास भारत का ड्राइविंग लाइसेंस तो क्या आप उसके साथ विदेशों में भी ड्राइविंग कर पाएंगे? दरअसल, अगर आप विदेश जा रहे हैं और वहा आपको ड्राइविंग करनी पड़ेगा तो उसके लिए इंटरनेशनल ड्राइविंग परमिट की जरूरत होगी. अब सवाल है कि आखिर इंटरनेशनल ड्राइविंग परमिट कैसे बनवाया जाए?

International Driving Licence: बनाने की प्रोसेस और शर्ते
आपको बता दे की इसे बनवाने की दो मुख्य शर्तें हैं. पहली यह कि जो व्यक्ति इंटरनेशनल ड्राइविंग परमिट लेना चाह रहा है, उसके पास भारतीय ड्राइविंग लाइसेंस हो और दूसरी यह कि वह भारत का निवासी हो. अगर यह दोनों शर्तें पूरी होती हैं, तब उसके बाद ही आगे का प्रोसेस शुरू हो सकता है. इंटरनेशनल ड्राइविंग परमिट बनवाने के लिए आपको संबंधित RTO में अप्लाई करना होगा. इसके लिए फॉर्म 4A भरा जाता है. इसे भरकर आप RTO में जमा करेंगे. इसके साथ ही आपको यह भी बताना पड़ेगा कि आप कौन से देश जा रहे हैं और वहां कितने दिनों तक रुकेंगे

International Driving Licence: जरुरी डाक्यूमेंट्स
आपको बता दे की जो आवेदक है उसके पास वैध ड्राइविंग लाइसेंस होनाजरुरी है. इसकी कॉपी जमा करनी होगी. वेरिफिकेशन के लिए पासपोर्ट, वीजा जहां लागू हो और हवाई टिकट की कॉपी लगेगी बता दें कि इंटरनेशनल ड्राइविंग परमिट फ्री में नहीं बनता है. इसके लिए सरकार द्वारा तय फीस है, जो भरनी होती है. फॉर्म 4ए जमा करने के साथ ही आपको इंटरनेशनल ड्राइविंग परमिट के लिए तय शुल्क का भुगतान करना होगा. यह सभी प्रक्रियाएं पूरी हो जाने के बाद लगभगल 5 वर्किंग डे (कार्य दिवसों) के भीतर आपके आवासीय पते पर डाक द्वारा आपका इंटरनेशनल ड्राइविंग परमिट पहुंचा दिया जाएगा.